तो समस्या क्या है?
नसरूद्दीन एक दुकान पर गया जहाँ तमाम तरह के औजार और स्पेयरपार्ट्स मिलते थे.
“क्या आपके पास कीलें हैं?”
“हाँ”
“और चमड़ा, बढ़िया क्वालिटी का चमड़ा”
“हाँ है”
“और जूते बांधने का फीता”
“हाँ”
“और रंग”
“वह भी है”
“तो फिर तुम जूते क्यों नहीं बनाते?”
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